Sunday, October 30, 2016

शमशान ही बस्ती है

शमशान ही बस्ती है
   एक व्यक्ति किसी गाँव में पहुँच जाना चाहता था।जाने कितनी देर से चल रहा था वह पर मन्जिल जैसे दूर दूर भाग रही थी। सूर्य प्रतिपल अस्ताचल की ओर सरकता जा रहा था। जंगल के वह सुनसान एवं अन्जान रास्ते पर से गुजरते हुए बड़ा चिन्तित था और अंधेरा घिरने से पहले  किसी गाँव तक सकुशल पहुँच जाना चाहता था। तभी आगे जंगल में मन्दिरनुमा खण्डहर के सामने बैठे एक साधु को देखकर उसके चिंतित मन को थोड़ा ढाढस बंधा। साधु के समीप जाकर प्रणाम कर उसने सानुरोध पूछा-महात्मन।मैं एक पथिक हूँ।इधर के रास्ते सेअनजान हूँ, विश्रांति के लिये रात्रि होने से पहले किसी बस्ती तक पहुँच जाना चाहता हूँ,क्या आप बता सकते हैं, इधर पास में कोई बस्ती है?साधु ने पथिक की ओर देखा। फिर उसे इशारा से उधर का रास्ता बता दिया जिधर कुछ दूरी पर एक जगह से धुआँ उठ रहा था। पथिक उस जगह भागा भागा जा पहुँचा,किन्तु तत्काल साधु के पास पुनः लौट आयाऔर शिकायत भरे लहजे में तनिक रोष भरे स्वर में बोला।यह क्या महात्मन् मैने आपसे  बस्ती  का  रास्ता पूछा था, किन्तु आपने मुझे श्मशान का रास्ता बता दिया।उसकी बात सुनकर साधुअनायास अट्टहास कर उठा। पथिक ने इसेअपनाअपमान समझा।और नाराज़गी भरे स्वर में कहा-एक तो आपने मुझे गलत रास्ता बताया और ऊपर से मेरी बातों का मज़ाक बनाकर मेरा उपहास उड़ा रहे हैं। साधु उसकी नाराज़गी पर ज़रा भी असंयमित नहीं हुआ। वह संयत स्वर में बोला-वत्स। मुझे तुम्हारी विवशता पर नही बल्कि तुम्हारीअल्प बुद्धि पर हँसी आ गई थी। गलती पर मैं नहीं,बल्कि तुम हो।तुम्हारी तरह प्रत्येक संसारी यह गलती करता है। वस्तुतः तुम जिसे श्मशान समझ रहे हो,वही असली बस्ती है और जिसे तुम बस्ती समझते हो वह बस्ती नहीं, बल्कि एक सराय मात्र है, जहाँ तुम जैसे संसारी लोग दुख-सुख अपने पराए, पिता-पुत्र,पति पत्नि, बन्धु बान्धव आदि जैसे नाना भाँति के मायारूपी गृह जंजालों में उलझते सुलझते यात्रियों की भाँति आते हैं,सराय में कुछ दिनों तक निवास करते हैं और फिर एक दिन उसी श्माशन रूपी बस्ती में हमेंशा के लिये जा बसते हैं।आप जिसे बस्ती कहते हैं वहाँ से आकर उन्हें यहाँ बसते हुए हमने कई बर्षों से देखा है यहाँ से वहाँ जाते हुए किसी को नहीं देखा। तुम्ही बताओ, तुमने अपनी बस्ती से तो सबको लाकर यहाँ बसते देखा है,लेकिन क्या कभी किसी वहाँ जा बसे व्यक्ति को अपनी बस्ती में आते देखा है?पथिक इस बात पर मौन रह गया।

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